संपादकीय- डॉ. आलोक रंजन पांडेय
आधी आबादी की आवाज़: इदन्नमम – डॉ. तेज नारायण ओझा / रजनी पाण्डेय / रश्मि पाण्डेय
कवि द्विजदेव – डाॅ. ममता सिंगला
साहित्यकार दूधनाथ सिंह का आखिरी कलाम : एक सामाजिक अनुशीलन- डॉ. दिग्विजय कुमार शर्मा
केदारनाथ सिंह के काव्य में प्रकृति – रणजीत कुमार सिन्हा
कुँवर नारायण के काव्य में सामाजिक संचार – डॉ. चन्देश्वर यादव
मिथकों के सहारे सत्ता से संघर्ष के कवि: कुँवर नारायण – बीरज पांडेय
आज के प्रश्न और कुँवर नारायण – नौशाद अली
बिखरे रंग (कहानी) – डॉ. सिम्मी चौहान
ग्लानि – सविता मिश्रा ‘अक्षजा’
त्राहिमाम हूजूर (कहानी) – समीर कुमार
कल्याणी ( कहानी ) – तेजस पूनिया
अपने स्वत्व को खोजती नारी: ‘दिलोदानिश’ के संदर्भ में – लक्ष्मी विश्नोई
स्कन्दगुप्तः राष्ट्रीय चेतना का जीवन्त दस्तावेज – ज्ञानेन्द्र प्रताप सिंह
डॉ. बाबा साहेब आंबेडकर और ‘हिंदू कोड बिल’ – कुसुम संतोष विश्वकर्मा
रामवृक्ष बेनीपुरी की प्रेरक आत्मकहानी – वीना कुमारी
प्रदीप कुमार सिंह और रामप्रकाश दिवेद्धी द्धारा संकलित व संंपादित पुस्तक की समीक्षा – डॉ. विधि शर्मा
सिनेमा का भाषिक और सामाजिक अध्ययन (विशेष संदर्भ नसीरूद्दीन शाह अभिनीत फिल्में)-डॉ. माला मिश्र
सिनेमा के कैनवास का लोक रंग – अर्चना पाठक